हमीरपुर मेडिकल कॉलेज से निकाली नर्सें मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मिली
पालिसी बनाने की उठाई मांग
शिमला ,
राधाकृष्ण मेडिकल कालेज हमीरपुर की हाल ही में टर्मिनेट की गई नर्सें मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मिली और अपने लिए पाॅलिसी बनाने की मांग उठाई। उन्हाेंने कहा कि अगर कैबिनेट में सरकार उनके लिए काेई निर्णय नहीं लेती है ताे उनके पास केवल काेर्ट जाने का ही रास्ता बचेगा। अाउटसाेर्स पर कार्यरत नर्स पूनम, पूजा, भवानी ठाकुर ने बताया कि वह जुलाई 2019 से हमीरपुर मेडिकल कालेज में अाउटसाेर्स पर ड्यूटी दे रही उसके बाद काेविड अाया ताे उनकी ड्यूटी काेविड में लगा दी गई। उन्हाेंने दिनरात काेविड में भी सेवाएं दी। परिवार के कई लाेग उनके कारण संक्रमित भी हुए। मगर अब सरकार ने उनके साथ यूज एंड थ्राे वाली नीति अपनाकर हमे बाहर कर दिया है। पूनम ने बताया कि 16 जून काे वह ड्यूटी पर थी ताे किसी ने कहा कि उनके लिए सरकार पाॅलिसी बना रही है, मगर 17 जून काे उन्हें ड्यूटी पर अाने से मना कर दिया गया। हालांकि उन्हें ना ताे प्रशासन की अाेर से काेई टर्मिनेशन लेटर दिया गया अाैर ना ही उन्हें ड्यूटी अाने काे कहा गया। जब इसका कारण पूछा गया ताे हमे प्रशासन ने बताया कि अाप लाेगाें काे केवल काेराेना ड्यूटी के लिए रखा गया था। एेसे में अब नर्सें काफी परेशान हाे चुकी हैं। उन्हाेंने कहा कि वह 42 नर्सें एक साथ वहां पर लगी थी, जिन्हें सरकार ने निकाल दिया है। उन्हाेंने कहा कि वह मुख्यमंत्री से मिली हैं। उन्हाेंने अाश्वासन दिया है कि वह जल्द ही उनके लिए पाॅलिसी बनाएंगे। यदि सरकार एेसा नहीं करती है ताे नर्साें के पास काेर्ट जाने के सिवाए काेई रास्ता नहीं बचेगा।